शिक्षक संघ ने दी मुख्याध्यापकों के खिलाफ प्रदर्शन की चेतावनी

Posted in Friday, 24 February 2012
by Rajkiya Prathmik Shikshak Sangh - 421

कैथल, 23 फरवरी (निस)। राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ जिला इकाई का एक प्रतिनिधिमण्डल मंगलवार को जिला प्रधान रोशन लाल पंवार की अध्यक्षता में जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी सन्तोष ग्रोवर से प्राथमिक शिक्षकों की मांगों को लेकर मिला। जिला प्रधान ने पत्रकारों को जानकारी देते हुए बताया कि प्राथमिक शिक्षकों की लम्बित मांगों को संघ ने डीईईओ के सामने रखा जिनमें प्राथमिक शिक्षकों की वरिष्ठता सूची तैयार करना, प्राथमिक शिक्षकों को कन्फर्म करना, हिन्दी, संस्कृत व पंजाबी पदों पर पदोन्नति सूचि जारी करना, एसीपी के बकाया केसों का निपटारा करना, जिन छह अध्यापकों को पर्सनल पे नहीं दी जा रही उन्हें पर्सनल पे के साथ वेतन देना, मुख्यशिक्षकों को अटैच स्कूलों में सारी शक्तियां प्रदान करना, अटैच स्कूलों में प्राथमिक शिक्षकों की बायोमिट्रिक मशीनों में हाजिरी लगाने सम्बंधी विभागीय स्थिति स्पष्ट करना आदि शामिल थी जिनके कारण प्राथमिक शिक्षकों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। डीईईओ ने संघ पदाधिकारियों को जल्दी ही सारी मांगें पूरी करने का आश्वासन देते हुए कहा कि प्राथमिक शिक्षकों की वरिष्ठता सूचि तैयार की जा रही है तथा प्राथमिक शिक्षकों को कन्फर्म व हिन्दी, संस्कृत व पंजाबी पदों पर प्राथमिक शिक्षकों को पदोन्नति करने का कार्य 31 मार्च से पहले पूरा कर दिया जाएगा तथा वर्ष 2004 तक नियुक्त हुए प्राथमिक शिक्षकों को कन्फर्म कर दिया जाएगा। जिन अध्यापकों को एसीपी प्रदान नहीं की गई उनकी पर्सनल फाईल जल्दी ही मुख्यालय से मंगवा कर उन्हें एसीपी प्रदान कर दी जाएगी तथा जिन अध्यापकों को पर्सनल पे नहीं दी जा रही है, वे डीईईओ कार्यालय में अपना प्रार्थना पत्र भेज दें ताकि उनके सम्बंधित डीडीओ को पर्सनल पे बनाने के आदेश दिए जा सकें। जिला महासचिव राकेश रत्न ने बायोमीट्रिक मशीन में अटैच स्कूलों के अध्यापकों की हाजिरी सम्बंधित डीडीओ द्वारा बिना विभागीय पत्र के लगवाने पर कड़ा विरोध जताया और कहा कि विभाग इस सम्बंध में पत्र जारी करके स्थिति स्पष्ट करे या सभी अटैच प्राथमिक स्कूलों में अलग बायोमिट्रिक मशीन लगवाई जाए।
जिला उपप्रधान शमशेर कालिया ने मुख्यशिक्षकों की शक्तियों को मुख्याध्यापकों तथा प्रधानाचार्यों द्वारा प्रयोग करने पर एतराज जताया और वेतन निकलवाने की एवज में प्राथमिक शिक्षकों का शोषण करने की निन्दा की।